Friday 1 January 2016

उम्मीद

जो हर दरवाजा मिले बंद इस शहर में ,
बेझिझक चले आना मेरी गली,
मैंने दरवाजा खुला छोड़ा है तबसे,
जब तुम गये थे रूठकर , 
खाकर कसम कभी न लौटने की। 

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